छत्तीसगढ़ में महिला कॉलेजों की संख्या बढ़कर इक्कीस हुई

रायपुर

प्रदेश सरकार द्वारा महिला -शिक्षा को बढ़ावा पर विशेष ध्यान दिए जाने के परिणामस्वरूप राज्य में अब तक इक्कीस कन्या महाविद्यालय अस्तित्व में आ चुके है। वर्ष 2000 में 15 शासकीय कन्या महाविद्यालय थे। राज्य शासन द्वारा वर्तमान शिक्षण सत्र से  सभी शासकीय महाविद्यालयों में  अध्ययनरत एवं प्रवेश लेने वाली छात्राओं को अब स्नातक स्तर तक शिक्षा निःशुल्क दी जा रही हैं। शिक्षा सत्र 2012-13 में पंडित रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय, रायपुर में छत्तीसगढ़ी में स्नातकोत्तर कक्षा प्रारंभ की गई है। सीटो की संख्या 100 रखी गई है। प्रवेश लेने वाले छात्र-छात्राओं शतप्रतिशत रहा है । राज्य में स्नातक एवं राज्य में स्नातक एवं स्नातकोत्तर स्तर के विद्यार्थियों के लिए पाठ्य पुस्तकें एवं संदर्भ पुस्तकें हिन्दी में प्रकाशित कर उपलब्ध कराने के लिए जनवरी 2006 में छत्तीसगढ़ राज्य हिन्दी ग्रंथ अकादमी की स्थापना की गई।
उच्च शिक्षा विभाग द्वारा राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान (रूसा) के अन्तर्गत राज्य स्तरीय उच्चतर शिक्षा योजना तैयार की जा रही है। इस योजना का वैशिष्ट्य यह है कि समस्त संस्थाओं द्वारा अपने प्रस्तावों में अकादमिक, परीक्षा, प्रशसनिक सुधार तथा पाठ्यक्रम निर्माण एवं सुधार को समाहित करते हुए अपनी आवश्यकताओं के अनुरूप प्रस्ताव तैयार किया गया है। ताकि नवीन विषयों,रोजगारोन्मुखी पाठयक्रमों एवं अधोसंरचना का सृदृढ़ीकरण के प्रस्तावों को राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान के अभिदृश्य योजना में शामिल किया गया है। भारत सरकार के मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने प्रदेश के दो महाविद्यालयों शासकीय दूधाधारी बजरंग स्नातकोत्तर महाविद्यालय,रायपुर और शासकीय वाल्मिकी महाविद्यालय,भानुप्रतापपुर  को कम्यूनिटी कॉलेज की सूची  में शामिल किया गया है। विभाग द्वारा शासकीय कॉलेजों में रोजगारोन्मुखी शिक्षा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री कौशल विकास योजना के तहत आवश्यकतानुसार व्ही.टी.पी.  ( वोकेशनल ट्रेनिग प्रोवाइडर) के रूप में पंजीयन किया जा रहा है।